मेरे सनम अब तू ही बता दे, कैसे तुझसे प्यार करू,
मेरा दिल अब टूट चुका हैं, कैसे मै विश्वास करू,
तेरे वो वादे, तेरी वो कसमे, बदल चुकी हैं आज सभी,
क्या बतलाउं, क्या समझाउं, दिल की हैं फरियाद यही,
कैसे रुसवा तुझे करू अब, उलझन दिल की आज यही,
मेरा दिल था बहता दरिया, कैसे इसको बांध रखू,
अभी जवानी मचल रही थी, तेरे ही खातिर तरस रही थी,
तुझे बुलाऊ, पास बैठाऊ, कैसे मै सत्कार करू,
करी वाफा थी, मिली जाफा हैं, कैसे मै विश्वास करू,
तुझे भूलादू, पास बुलाळू, कब तक मै इंतजार करू,
मेरी तो हिम्मत टूट चुकी हैं, किससे अब फरियाद करू,
मेरे खुदा अब तू ही बाता दे, तुझ पर क्या विश्वास करू,
सुधीर कुमार शुक्ल " तेजस्वी"
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