गुरुवार, 1 अगस्त 2013

आपकी दिल्ली




ना  पंजे, ना कमल की बारी,
"झाड़ू" लगेगी अबकी बारी,
       
ना नेता, ना चोर -उचक्के,
लगेंगे अब तो "आप" के छक्के,  
             
ना  जाति, ना  धर्मं के टोटके,
भेजेंगे हम "आप" को चुनके,
            
ना "शीला" की, ना लीला की, 
दिल्ली होगी आप सभी की,
             
होगी सत्ता आपके पास,
नेता सेवक, जनता-राज,

वन्दे मातरम !!

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